GST Collection ने तोड़ा रिकॉर्ड, अप्रैल में 12.6% बढ़त के साथ हुआ रिकॉर्ड कलेक्शन
GST Collection महीने की शुरुआत के साथ ही देश के लिए अच्छी खबर आई है। अप्रैल महीने के दौरान GST Collection हाई लेवल पर पहुंच गया है।

GST Collection: उज्जवल प्रदेश, नई दिल्ली. नए महीने की शुरुआत के साथ ही देश के लिए अच्छी खबर आई है। अप्रैल महीने के दौरान GST Collection में शानदार बढ़ोतरी हुई है। इस बढ़ोतरी के साथ जीएसटी कलेक्शन रिकॉर्ड हाई लेवल पर पहुंच गया है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, अप्रैल में वस्तु एवं सेवा कर (GST) कलेक्शन साल-दर-साल 12.6 प्रतिशत बढ़कर 2.37 लाख करोड़ रुपये के रिकॉर्ड हाई लेवल पर पहुंच गया।
इससे पहले सबसे ज्यादा जीएसटी कलेक्शन अप्रैल 2024 में हुआ था, जो 2.10 लाख करोड़ रुपये था। हालांकि अब ये रिकॉर्ड भी टूट चुका है। मार्च 2025 में यह कलेक्शन 1.96 लाख करोड़ रुपये था। घरेलू लेनदेन से जीएसटी राजस्व 10.7 प्रतिशत बढ़कर लगभग 1.9 लाख करोड़ रुपये हो गया, जबकि आयातित वस्तुओं से राजस्व 20.8 प्रतिशत बढ़कर 46,913 करोड़ रुपये हो गया है।
जनवरी से मार्च तक कितना रहा जीएसटी कलेक्शन
सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, मार्च में यह कलेक्शन 1.96 लाख करोड़ रुपये रहा, जो पिछले वर्ष की तुलना में 9.9% की ग्रोथ है। फरवरी में जीएसटी कलेक्शन 1.83 लाख करोड़ रुपये रहा, जो साल-दर-साल 9.1% की ग्रोथ रही। वहीं जनवरी में भी 1.96 लाख करोड़ रुपये जीएसटी कलेक्शन रहा, जो 12.3% की ग्रोथ को दिखाता है। जीएसटी कलेक्शन में हर महीने बढ़ोतरी की बड़ी वजह देश में घरेलू मांग की बढ़ोतरी रही है।
इन जगहों पर ज्यादा हुआ जीएसटी कलेक्शन
लक्षद्वीप में जीएसटी कलेक्शन में 287% की ग्रोथ हुई है। राज्यों में, अरुणाचल प्रदेश ने 66% की ग्रोथ दर्ज की है, जबकि मेघालय और नागालैंड में क्रमशः 50% और 42% की वृद्धि हुई है। हरियाणा, बिहार और गुजरात जैसे बड़े राज्यों ने भी दोहरे अंकों की ग्रोथ दर्ज की है। इसके विपरीत, आंध्र प्रदेश, त्रिपुरा और मिजोरम में गिरावट देखी गई, जिसमें मिजोरम में 28% की सबसे बड़ी गिरावट देखी गई।
कब लागू हुआ था जीएसटी?
बता दें, देश में 1 जुलाई 2017 को GST लागू हुआ था। वस्तु एवं सेवा कर (GST) भारत में वस्तुओं और सेवाओं के निर्माण, बिक्री और उपभोग पर अप्रत्यक्ष कर है। जीएसटी के 4 प्रकार हैं, जिसमें सीजीएसटी, एसजीएसटी, यूटीजीएसटी और आईजीएसटी शामिल हैं। कभी-कभी उपकर भी लगाया जाता है।
भारत में विभिन्न वस्तुओं और सेवाओं के लिए GST की दरें 4 स्लैब में विभाजित किया गया है, 5% जीएसटी, 12% जीएसटी, 18% जीएसटी और 28% जीएसटी। देश में GST लागू होने के बाद जीएसटी परिषद ने कई बार विभिन्न उत्पादों के लिए जीएसटी दरों में संशोधन किया है।