जातिगत आधार पर आरक्षण को मिटाया नहीं जा सकता: उमा भारती

भोपाल 
केंद्रीय पेयजल और स्वच्छता मंत्री उमा भारती ने गुरुवार को कहा कि जातिगत आधार पर आरक्षण को मिटाया नहीं जा सकता। आरक्षण के बारे में बीजेपी-कांग्रेस सहित सभी राजनीतिक दलों का विरोध होने के संबंध में पूछे गए एक सवाल के जवाब में उमा ने कहा कि समाज में पहले जाति भेद रहा है इसलिए जातिगत आरक्षण को मिटाया नहीं जा सकता है। 
 
उमा भारती ने यह भी कहा, 'प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बहुत अच्छी बात कही थी कि हम रोटी, रोजगार, गरीबी, भुखमरी और बेरोजगारी की लड़ाई लड़ें। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भी कहा था कि किसी के साथ भी अन्याय नहीं होगा। सबका ध्यान रखा जाएगा। ध्यान रखने का प्रावधान पहले भी था। मेरा मानना है कि हमारा आज का जो संविधान है वह पर्याप्त है, हमारी रक्षा करने के लिए। हमारे कानून पर्याप्त हैं, नागरिक अधिकारों की रक्षा के लिए।’ 

उन्होंने कहा कि संविधान सभा ने बहुत ही सुंदर तरीके से हमारे संविधान को बनाया था, उसमें कोई कमी नहीं छोड़ी है। जब सवाल किया गया कि क्या आप आर्थिक आधार पर आरक्षण की पक्षधर हैं, तो उमा ने कहा, ‘इसपर सबका विचार आने दीजिए।’ 

'अयोध्या में मंदिर के अलावा कुछ नहीं हो सकता' 
अयोध्या मामले से जुड़े सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर उमा ने कहा, ‘मैं चाहती हूं कि राम मंदिर पर फैसला अतिशीघ्र हो। देश का कोई व्यक्ति नहीं चाहेगा कि फैसला देर से आए। वहां राम मंदिर के अलावा कुछ हो नहीं सकता। वहां की स्थितियां ऐसी ही हैं।’ मामला अदालत में विचाराधीन होने की तरफ इशारा किए जाने पर उमा ने कहा, ‘भव्य निर्माण का रास्ता ही निकलेगा।’ 

उन्होंने आगे कहा, ‘मेरे दिल में हमेशा से वहां पर भव्य मंदिर बना है। मेरा वश चले तो कल सुबह मंदिर बनवा दूं लेकिन मर्यादा और नियम के तहत बंधी हूं।’ राम मंदिर से समाज की भावना जुड़े होने का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि दोनों पक्षकार (इस मुकदमे से जुड़े) अदालत से बाहर सेटलमेंट कर लेते हैं और स्टाम्प पर लिखकर देते हैं तो भी मंदिर जल्द बन जाएगा। हालांकि, उमा ने कहा, ‘जो भी कानून का फैसला आएगा वह मान्य होगा।’ 

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