Kuno National Park में खुलेंगे होटल- रिसॉर्ट, विभाग तलाश रहा जमीन

कूनो नेशनल पार्क में निजी उद्योगपतियों के साथ ही पर्यटन बोर्ड ने जन-निजी भागीदारी से यहां होटल-रेस्टोरेंट खोलने की तैयारी कर ली है। निजी निवेशकों की मदद से पर्यटकों के लिए आधुनिक सुविधाओं से युक्त होटल-रेस्टोरेंट शुरु किए जा सके।

उज्जवल प्रदेश, भोपाल. श्योपुर जिले के कूनो नेशनल पार्क में अफ्रीकन चीतों के आगमन के बाद यहां पर्यटन की संभावनाए बढ़ गई है। यहां निजी उद्योगपतियों के साथ ही पर्यटन बोर्ड ने जन-निजी भागीदारी से यहां होटल-रेस्टोरेंट खोलने की तैयारी कर ली है। पर्यटन विभाग ने राजस्व विभाग से कूनो के आसपास जमीन मांगी है ताकि निजी निवेशकों की मदद से यहां पर्यटकों के लिए आधुनिक सुविधाओं से युक्त होटल-रेस्टोरेंट शुरु किए जा सके।

मध्यप्रदेश के श्योपुर जिले के कूनो नेशनल पार्क में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा अफ्रीकन चीते छोड़े जाने के बाद यहां पर्यटकों को आकर्षित करने में निजी उद्योगपतियों की रुचि तो बढ़ी ही है साथ ही राज्य सरकार भी यहां पर्यटकों को लुभाने के लिए होटल-रेस्टोरेंट शुरु करने की दिशा में आगे बढ़ गई है। पर्यटन बोर्ड ने राजस्व विभाग और कलेक्टर श्योपुर से यहां आसपास के क्षेत्र में जमीन मांगी है।

पर्यटन बोर्ड इस जमीन पर पर्यटकों के लिए होटल, रेस्टोरेंट और रिसार्ट शुरु करने के लिए निजी डेवलपरों को आमंत्रित करेगी। पर्यटन नीति के अनुसार यहां की जमीने 90 साल की लीज पर दी जाएंगी। इसके लिए टैंडर जारी किए जाएंगे। जो डेवलपर सबसे अधिक दरों पर इन जमीनों को लेने के लिए तैयार होंगे उन्हें यह जमीन दी जाएगी। इससे जहां राज्य सरकार को एक बड़ी राशि इस क्षेत्र के विकास के लिए मिल जाएगी वहीं निजी निवेशकों को भी जमीन पाने के लिए लंबी कवायद से नहीं जूझना होगा।

पर्यटन बोर्ड यहां मिलने वाली जमीन का सीमांकन कराने के बाद निजी निवेशकों को एक समयसीमा के भीतर निर्माण करने के लिए कार्यक्रम देगी। निजी कंपनी को चार साल के भीतर यहां निर्माण करना होगा। ताकि समयसीमा के भीतर यहां पर्यटक सुविधाएं विकसित की जा सके। यदि निजी निवेशक तय सीमा में काम नहीं करेंगे तो उनकी लीज निरस्त कर दूसरे निवेशकों को भी दी जा सकेगी। यहां पर्यटन सुविधाएं विकसित करने के लिए राज्य सरकार पर्यटन नीति के अनुसार कई तरह की रियायतें भी देगी।

अभी सिर्फ एक ही रिसॉर्ट

कूनो में कूनो नदी के किनारे एक जंगल रिसोर्ट है। पर्यटन विभाग से लीज पर लिये गए इस रिसोर्ट में पर्याप्त सुविधाएं है जिन्हें और तेजी से विकसित किया जा रहा है। पालपुर राजपरिवार से जुड़े ऋषिराज सिंह यहां बारह कमरों का रिसोर्ट बनवा रहे है। उनकी तर्ज पर अन्य निजी उद्योगपति भी यहां जमीने तलाश रहे है ताकि पर्यटकों को आकर्षित करने यहां सुविधाएं विकसित की जा सके।

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