योगी आदित्यनाथ सरकार की गाइडलाइंस- बकरीद पर कुर्बानी की फोटो या वीडियो वायरल करने वालों पर होगा एक्शन

लखनऊ
बकरीद पर कुर्बानी को लेकर योगी आदित्यनाथ ने गाइडलाइन भी जारी की है। इसका उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सरकार की तरफ से सख्त एक्शन भी हो सकता है। योगी आदित्यनाथ सरकार का स्पष्ट निर्देश है कि कोई भी बकरीद पर कुर्बानी का फोटो या फिर वीडियो को वायरल ना करे। कहीं पर भी कुर्बानी की फोटो या वीडियो वायरल करने वाले पर एक्शन लिया जायेगा। इतना ही नहीं ऐसा करने वाले को जेल भी भेजा जा सकता है। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कुर्बानी के बाद फोटो या वीडियो वायरल करने या फिर शरारतपूर्ण बयान जारी करने वालों के साथ जीरो टॉलरेंस की नीति के साथ कड़ाई से पेश आएं। कहीं पर भी माहौल खराब करने की कोशिश करने वाले अराजक तत्वों के साथ पूरी कठोरता की जाए। शरारती तत्व दूसरे सम्प्रदाय के लोगों को अनावश्यक उत्तेजित करने की कोशिश कर सकते हैं, ऐसे मामलों पर नजर रखें। संवेदनशील क्षेत्रों में अतिरिक्त पुलिस बल की तैनाती की जाए।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बकरीद पर अमन-चैन कायम रखने के लिए अधिकारियों को दिशा-निर्देश जारी किए थे। सीएम योगी आदित्यनाथ का निर्देश था कि राज्य में माहौल खराब करने की कोशिश करने वाले अराजक तत्वों के साथ कड़ाई से निपटा जाए। किसी भी पर्व को उसकी आस्था के अनुरूप ही मनाना उचित होता है। उसके नाम पर हुड़दंग या फिर फूहड़ता बर्दाश्त नहीं होगी। उन्होंने बकरीद के साथ ही सावन मास के सोमवार तथा कांवड़ यात्रा समेत अन्य पर्व और त्योहारों को देखते हुए साफ कहा है कि शरारती तत्वों से जीरो टॉलरेंस की नीति के साथ पेश आएं।

उन्होंने कहा कि बकरीद पर कुर्बानी के दौरान भी हमको निर्धारित स्थल तथा समय का ध्यान रखना होगा। अधिकारी सुनिश्चित करें की किसी भी सार्वजनिक स्थल, सड़क या फिर चौराहा पर कुर्बानी ना हो। किसी भी प्रतिबंधित पशु की कुर्बानी ना हो। कुर्बानी के बाद सालिड वेस्ट का तत्काल ही निर्धारण हो। इसको चाहे आयोजक करें या फिर नगर निगम तथा नगर निकाय करें। कुर्बानी के बाद तत्काल सफाई की व्यवस्था हो। सालिड वेस्ट को ऐसे स्थान पर ना रखा जाए, जहां से बदबू फैले। इसको बस्ती या आबादी से दूर रखा जाए। इसको किसी भी कीमत पर पानी में ना बहाया जाए। बकरीद पर कुर्बानी के लिए स्थान का चिन्हांकन पहले से ही होना चाहिए। विवादित जगहों पर कुर्बानी नहीं होनी चाहिए। तय स्थान के अतिरिक्त कहीं और कुर्बानी नहीं होनी चाहिए। प्रत्येक दशा में यह सुनिश्चित करें कि कहीं भी प्रतिबंधित पशु की कुर्बानी न हो। कुर्बानी के बाद अपशिष्ट के व्यवस्थित निस्तारण की कार्ययोजना होनी चाहिये। अन्यथा की स्थिति में यह अपशिष्ट बीमारी का कारक बनते हैं।

Related Articles

Back to top button