जहाँ जंगल के मेहमान बनते हैं परिवार के सदस्य कुटिया में, बाबा और भालुओं के बीच अनोखे प्रेम का संगम देखें

जनकपुर/एमसीबी

मध्य प्रदेश-छत्तीसगढ़ सीमा पर अनूपपुर जिले से 74 किलोमीटर दूर, जनकपुर के पास उचेहरा गाँव के नजदीक एक स्थान है – राजामाँड़ा, जहाँ एक अनोखा दृश्य रोज़ देखने को मिलता है। यहाँ एक छोटी सी कुटिया में एक बाबा और उनके साथ एक बुजुर्ग महिला रहते हैं। इस कुटिया के बाहर एक अद्भुत नज़ारा देखने को मिलता है, जब भालुओं का पूरा परिवार दस्तक देता है। इंसान और जानवरों के बीच के इस अनोखे प्रेम को देखकर यहाँ आने वाले लोग भी हैरान रह जाते हैं।

बाबा और बुजुर्ग महिला के लिए ये भालू मानो उनके अपने मेहमान हों। वे इन भालुओं को “सीताराम” कहकर पुकारते हैं और आदर के साथ उनकी सेवा करते हैं। कुटिया के बाहर आकर ये जंगली भालू बाबा द्वारा दिए गए भोजन को चुपचाप ग्रहण करते हैं और फिर वापस जंगल की ओर लौट जाते हैं। इस अद्वितीय दृश्य में कहीं भी डर या हिंसा का भाव नहीं, बल्कि प्रेम और सम्मान का भाव दिखाई देता है।

यह दृश्य हमारे जल, जंगल और जमीन से जुड़े इस अद्भुत संगम को बखूबी दर्शाती है।

Ramesh Kumar Shaky

रमेश कुमार शाक्य एक अनुभवी पत्रकार हैं, जिनके पास 22 वर्षों से अधिक का अनुभव है। अपने करियर के दौरान, उन्होंने कई प्रतिष्ठित समाचार संगठनों के साथ काम किया और पत्रकारिता के क्षेत्र में अपनी विशेषज्ञता का प्रदर्शन किया। वे समाचार का प्रबंधन करने, सामग्री तैयार करने और समय पर सटीक समाचार प्रसारण सुनिश्चित करने में माहिर हैं। वर्तमान घटनाओं की गहरी समझ और संपादकीय कौशल के साथ, उन्होंने समाचार उद्योग में महत्वपूर्ण स्थान हासिल किया है। उन्होंने राजनीति, व्यापार, संस्कृति और अंतर्राष्ट्रीय मामलों जैसे विभिन्न क्षेत्रों में समाचार कवरेज एवं संपादन किया है।

Related Articles

Back to top button