प्रेमिका बने IPS, ऐसी मन्नत लिए 121 लीटर गंगाजल के साथ Kanwar Yatra पर निकला युवक
Kanwar Yatra: दिल्ली के शिवभक्त राहुल ने 121 लीटर गंगाजल लेकर अपनी प्रेमिका को IPS बनाने की मन्नत के साथ कांवड़ यात्रा कर रहे हैं। हरिद्वार से गंगाजल लेने के लिए राहुल दिल्ली जा रहे हैं।

Kanwar Yatra: उज्जवल प्रदेश डेस्क, नई दिल्ली. सावन के पावन महीने में उत्तर प्रदेश के बड़ौत-मुजफ्फरनगर कांवड़ मार्ग पर इन दिनों एक ऐसी दिल छू लेने वाली कहानी सामने आई है, जिसने शिव भक्तों और राहगीरों का ध्यान खींच लिया है। यह कहानी है दिल्ली के नरेला निवासी राहुल कुमार की, जो 121 लीटर गंगाजल की कांवड़ लेकर लगभग 220 किलोमीटर लंबी यात्रा पर हैं। लेकिन यह सिर्फ आस्था नहीं, बल्कि प्रेम की शक्ति का भी एक अद्भुत उदाहरण है।
प्रेमिका के लिए कठिन संकल्प, भोलेनाथ से मन्नत
राहुल कुमार की प्रेम कहानी उनकी भक्ति जितनी ही ख़ास है। राहुल ख़ुद इंटरमीडिएट पास हैं और उनकी ख्वाहिश है कि उनकी प्रेमिका यूपीएससी पास करके आईपीएस अधिकारी बने। इस सपने को पूरा करने के लिए राहुल हर साल सावन में कांवड़ (Kanwar Yatra)लेकर निकलते हैं और भगवान शिव से अपनी प्रेमिका की सफलता की मन्नत मांगते हैं। उनका साफ कहना है,
“जब तक वह IPS नहीं बनेगी, तब तक मैं हर साल कांवड़ लाता रहूंगा और शादी भी तभी करूंगा।”
पहले भी निभा चुके हैं आस्था का वादा
यह राहुल की चौथी Kanwar Yatra है। इससे पहले वह 101 लीटर गंगाजल के साथ कांवड़ यात्रा कर चुके हैं। इस बार उन्होंने अपने प्रण को और ऊंचाई देते हुए 121 लीटर जल उठाया गया है जब ऊंचाई दी गई है। राहुल की कड़ी तपस्या और सच्ची इच्छा को देखकर सब कहते हैं कि सच्चा प्रेम और आस्था दिल में हो तो कोई भी मंज़िल मुश्किल नहीं। राहुल को भरोसा है कि भगवान भोलेनाथ उनकी मन्नत जरूर पूरी करेंगे।
दोस्त बना हमसफर, बोल बम के जयकारे
इस कठिन यात्रा में राहुल अकेले नहीं हैं। उनके साथ उनके दोस्त नंदलाल भी हैं, जो बाइक से उनकी मदद कर रहे हैं। दोनों ‘बोल बम’ के जयकारों के साथ हर कदम पर शिव भक्ति में लीन होकर आगे बढ़ रहे हैं। राहगीरों और अन्य कांवड़ियों के बीच राहुल की यह अनोखी कहानी चर्चा का विषय बन गई है।
प्रेम और भक्ति का अनूठा संगम
राहुल की कहानी सिर्फ़ एक प्रेम कहानी (Kanwar Yatra) नहीं, बल्कि गहरी आस्था और अटूट विश्वास की मिसाल है। सावन के इस पावन अवसर पर हज़ारों श्रद्धालु काँवड़ लेकर हरिद्वार जाते हैं और गंगाजल लाकर शिवजी को अर्पित करते हैं, लेकिन राहुल ने इसे प्रेम के साथ जोड़कर इसे और भी विशेष बना दिया है।
जहां एक ओर लोग अपने व्यक्तिगत सुख-समृद्धि के लिए मन्नतें मांगते हैं, वहीं राहुल अपने प्यार की सफलता और उसके उज्ज्वल भविष्य के लिए भोलेनाथ की शरण में हैं।
उम्मीदों की उड़ान और आस्था का सफर
राहुल की यह यात्रा (Kanwar Yatra) न सिर्फ शिवभक्ति की एक अनूठी मिसाल है, बल्कि यह बताती है कि सच्चा प्रेम और दृढ़ संकल्प हर मुश्किल को पार कर सकता है। उनके चेहरे की मुस्कान और आंखों में चमक इस बात की गवाह है कि वह हर हाल में अपनी मन्नत पूरी होने तक इस कठिन तपस्या को निभाते रहेंगे।
सावन के इस मौसम में राहुल जैसे कांवड़िये साबित कर रहे हैं कि भक्ति और प्रेम एक साथ चलने पर हर मुश्किल पार हो जाती है।