Mp News: अब सरकारी इंजीनियरों की क्लास लगेगी – पढ़ाई और परीक्षा के बाद ही मिलेगी फील्ड पोस्टिंग
Mp News: मध्य प्रदेश में निर्माण गड़बड़ियों के बाद PWD ने बड़ा कदम उठाया है। अब सरकारी इंजीनियरों को कंस्ट्रक्शन के तकनीकी नियम दोबारा पढ़ने होंगे।

Mp News: उज्जवल प्रदेश, भोपाल. मध्य प्रदेश में सरकारी निर्माण कार्यों में हो रही गड़बड़ियों और विवादों के बीच लोक निर्माण विभाग (PWD) ने बड़ा और अहम फैसला लिया है। अब PWD के इंजीनियरों को दोबारा से कंस्ट्रक्शन के तकनीकी नियम पढ़ने होंगे और परीक्षा देकर पास होना होगा। परीक्षा में प्रदर्शन के आधार पर ही इंजीनियरों की फील्ड पोस्टिंग तय की जाएगी। यह निर्णय हाल ही में सामने आए भोपाल के 90 डिग्री ओवरब्रिज और इंदौर के Z-शेप रेलवे ओवरब्रिज जैसे विवादित निर्माणों के बाद लिया गया है।
इंजीनियर बनेंगे फिर से छात्र – पढ़ाई के बाद होगी परीक्षा
लोक निर्माण विभाग (Mp News) ने साफ किया है कि अब से कार्यपालन यंत्री, सहायक यंत्री और उपयंत्री स्तर के सभी इंजीनियरों को कंस्ट्रक्शन के तकनीकी नियमों की पढ़ाई करनी होगी। इसके बाद उन्हें एक विभागीय परीक्षा में शामिल होना होगा। यह परीक्षा 15 अगस्त 2025 के बाद कराई जाएगी और इसमें प्राप्त अंकों के आधार पर इंजीनियरों की फील्ड पोस्टिंग तय की जाएगी। इस फैसले का उद्देश्य है कि निर्माण की गुणवत्ता सुनिश्चित की जा सके और भविष्य में किसी भी तरह की तकनीकी भूल या भ्रष्टाचार से बचा जा सके।
ब्रिज विवादों ने खोली तकनीकी लापरवाही की परतें
हाल के महीनों में मध्य प्रदेश में बने कुछ सरकारी ब्रिज (Mp News) तकनीकी डिजाइन को लेकर विवादों में रहे। राजधानी भोपाल में 90 डिग्री एंगल का ओवरब्रिज बना, जिसकी सोशल मीडिया से लेकर इंजीनियरिंग जगत तक आलोचना हुई। वहीं इंदौर में पोलोग्राउंड पर अंग्रेजी के अक्षर ‘Z’ जैसा ब्रिज बनाया जा रहा है, जिसने PWD की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए। इसके अलावा बुरहानपुर के नेपानगर में 86 डिग्री कोण पर बने ब्रिज ने भी तकनीकी समझदारी पर संदेह जताया है।
सुधरेगी इंजीनियरिंग की नींव – जवाबदेही तय करने की पहल
PWD के इस नए निर्णय को तकनीकी गुणवत्ता और पारदर्शिता की दिशा में एक बड़ा कदम (Mp News) माना जा रहा है। अब इंजीनियरिंग पोस्ट केवल डिग्री पर नहीं, बल्कि जानकारी और दक्षता के आधार पर मिलेंगी। इससे राज्य में सरकारी निर्माण कार्यों में जवाबदेही बढ़ेगी और आम जनता को सुरक्षित व गुणवत्तापूर्ण ढांचा मिल सकेगा।