Data Leak: बड़ी कंपनियों की करोड़ों ऑनलाइन पासवर्ड हुई लीक, जानें अपने पासवर्ड को कैसे रखें सेफ..

Data Leak: आज के समय में ऑनलाइन डेटा लीक बड़ी मुसीबत बनी हुई हैं। इसी कड़ी में एक नए लीक में 18.4 करोड़ से ज्‍यादा पासवर्ड खतरे में आ गए हैं और यें सारे बड़ी कंपनियों से संबंधित बताए जा रहें हैं।

Data Leak: उज्जवल प्रदेश, नई दिल्ली. ऑनलाइन डेटा लीक ऐसी मुसीबत है जो लोगों की डिजिटल सुरक्षा को खतरे में डालता है। एक नए लीक में 18.4 करोड़ से ज्‍यादा पासवर्ड खतरे में आ गए हैं। ये पासवर्ड ऐपल, गूगल, फेसबुक, माइक्रोसॉफ्ट जैसी बड़ी कंपनियों से संबंधित बताए गए हैं। साइबर सिक्‍योरिटी रिसर्चर जेरेमिया फाउलर ने इस लीक को खोजने का दावा किया है। उनके मुताबिक ऑनलाइन ऐसा अनसेफ डेटाबेस मिला है जिसमें लाखों ईमेल और पासवर्ड थे। वह डेटाबेस एक अनएन्क्रिप्टेड टेक्स्ट फाइल के रूप में था यानी उसे खोलना बेहद आसान था। डेटाबेस में ऐसी जानकारी थी जिसके जरिए लोगों के बैंक अकाउंट और फाइनेंशनल अकाउंट्स में लॉगइन किया जा सकता था।

कहां से आया लीक डेटा

रिपोर्ट के अनुसार, इस डेटा को इन्फोस्टीलिंग मैलवेयर ने कैप्‍चर किया होगा। साइबर अपराधी अक्‍सर इस मैलवेयर का इस्‍तेमाल करते हैं और लोगों के पासवर्ड व अन्‍य जानकारियां चोरी करके उन्‍हें डार्क वेब पर बेच दिया जाता है। रिसर्चर्स ने उस होस्‍ट प्रोवाइडर से भी कॉन्‍टैक्‍ट किया जो करोड़ों पासवर्ड को टेक्‍स्‍ट फाइल में स्‍टोर कर रहा था। रिसर्चर ने फाइल के मालिक के बारे में पूछा तो होस्‍ट सर्विस ने डिटेल नहीं दी। यानी यह पता नहीं है कि करोड़ों लोगों का डेटा किसने चुराया है।

डेटा सही है या गलत, ऐसे लगाया पता

साइबर सिक्‍योरिटी रिसर्चर जेरेमिया फाउलर ने ऐसे कई लोगों को मेल किया, जिनके पासवर्ड व अन्‍य जानकारियां लीक हो गई थीं। लोगों ने माना कि उनका डेटा असली था। रिसर्चर का कहना है कि जो लोग एक ही पासवर्ड कई सारे अकाउंट्स में इस्‍तेमाल करते हैं, उनके डेटा लीक होने का खतरा सबसे ज्‍यादा रहता है। एक भी अकाउंट का पासवर्ड पता चला, तो बाकी अकाउंट्स के पासवर्ड खुद ब खुद सामने आ जाते हैं।

एक्‍सपर्ट्स का कहना है कि लोगों को किसी भी अकाउंट के लिए एक मजबूत पासवर्ड इस्‍तेमाल करना चाहिए। वह कम से कम आठ अक्षरों का होना चाहिए। उसमें कैपिटल लेटर, स्‍मॉल लेटर, नंबर, स्‍पेशल कैरेक्‍टरर्स का इस्‍तेमाल करना चाहिए। कभी अपने पासवर्ड में नाम, ईमेल या मोबाइल नंबर को शामिल नहीं करना चाहिए। टू-फैक्‍टर अथॉन्टिकेशन का इस्‍तेमाल करना चाहिए। इससे आपके पासवर्ड को सिक्‍योरिटी की एक एक्‍स्‍ट्रा लेयर मिल जाती है। इसके अलावा, अपने पासवर्ड को हर महीने बदल देना चाहिए। अगर वह कहीं लीक भी हो जाएगा तो हैकर के लिए किसी काम का नहीं रहेगा। सबसे खास बात कि अपना कोई भी पासवर्ड कभी किसी से शेयर ना करें।

Abhay Tripathi

उज्जवल प्रदेश डॉट कॉम में बतौर सब एडिटर कार्यरत अभय त्रिपाठी को डिजिटल मीडिया में 2 साल से अधिक का अनुभव है। हिंदी टाइम्स, प्रदेश टूडे जैसे कई प्रतिष्ठित संस्था… More »

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